
पंजाब सिंगर सिद्धू मूसेवाला के हत्याकांड के मास्टरमाइंड गैंगस्टर लॉरेंस को गुरुवार को पुलिस मोगा से ट्रांजिट रिमांड पर जालंधर ले आई। जालंधर में गैंगस्टर को कोर्ट में पेश किया गया। अदालत ने गैंगस्टर लॉरेंस को 10 दिनों के लिए 31 अक्टूबर तक पुलिस रिमांड पर भेज दिया है। लॉरेंस से पुलिस ने नशा तस्करी और हथियारों के दर्ज एक मामले में पूछताछ करनी है।
सीआईए स्टाफ ने गांधी गांधी कैंप के रहने वाले दीपक कपूर उर्फ दीपू को इसी साल बाबू जगजीवन राम चौक के पास हेरोइन और नाजायज हथियार के साथ पकड़ा था। उसके खिलाफ एनडीपीएस एवं आर्म्स एक्ट में मुकद्दमा दर्ज करके पूछताछ तो उसने जेल में बंद गैंगस्टर लॉरेंस का नाम लिया था।
नशा तस्कर ने पूछताछ में कहा था कि वह लॉरेंस के गुर्गों से नशा और हथियार लेकर आगे सप्लाई करता है। उसने यहां तक भी कहा था कि गैंगस्टर लॉरेंस जेल में बैठकर ही नशा और हथियारों की सप्लाई करवा रहा है। जेल के बाहर गैंगस्टर के इशारे पर उसके गुर्गे नशा और हथियार उपलब्ध करवाते हैं। पुलिस ने नशा तस्कर के बयानों के आधार पर लॉरेंस को केस में नामजद करके रिमांड पर लिया है।
इससे पूर्व मोगा में एक गैंगस्टर के कत्ल केस में बाघापुराना पुलिस ने लॉरेंस को रिमांड पर लिया था। आज रिमांड खत्म होने पर उसे मोगा कोर्ट में पेश किया गया। मोगा कोर्ट में जालंधर पुलिस ने गैंगस्टर को ट्रांजिट रिमांड पर ले जाने के लिए अपनी याचिका लगाई। जिसे कोर्ट ने स्वीकार करते हुए लॉरेंस को जालंधर पुलिस के हवाले कर दिया।
कड़ी सुरक्षा के बीच कोर्ट में किया पेश
गैंगस्टर लॉरेंस को जालंधर पुलिस आज मोगा से कड़ी सुरक्षा के बीच लेकर आई। पुलिस ने जालंधर शहर और जिस रूट से गैंगस्टर को लाया उस पर सुरक्षा कड़ी रखी। अदालत परिसर में भी भारी पुलिस फोर्स तैनात की गई थी। कोर्ट में आने जाने वालों की तलाशी भी ली गई। जिन लोगों को कोर्ट में काम था उन्हें भी पूछताछ के बाद अंदर जाने दिया जा रहा था।
जालंधर कोर्ट में वीवीआईपी की तरह पुलिस की गाड़ियों के काफिले में गैंगस्टर लॉरेंस को बख्तरबंद गाड़ी में लाकर कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट परिसर में जब लॉरेंस को लाने वाली सारी गाड़ियां भीतर आ गईं तो कोर्ट के मुख्य गेट बंद कर दिए गए। जिससे लोगों को खासी परेशानी उठानी पड़ी। लोग चर्चा भी कर रहे थे कि लोगों को मौत देने वाले को आखिर इतनी सुरक्षा और वीवीआईपी ट्रीटमेंट क्यों दी जा रही है।
वकील की दलील पर बठिंडा कोर्ट ने नहीं दिया था ट्रांजिट रिमांड
बता दें कि इससे पूर्व जालंधर पुलिस का सीआईए स्टाफ लॉरेंस को ट्रांजिट रिमांड पर लाने के लिए पिछली पेशी के दौरान बठिंडा में गया था। लेकिन बठिंडा की कोर्ट ने जालंधर पुलिस को लॉरेंस का ट्रांजिट रिमांड नहीं दिया था, क्योंकि सुरक्षा पर सवाल उठाए गए थे। गैंगस्टर के वकील विशाल चोपड़ा ने आशंका जताई थी कि उनके क्लाइंट को झूठे एनकाउंटर या फिर विरोधी गैंग से मरवाया जा सकता है। चोपड़ा ने दलील दी थी कि केंद्रीय एजेंसियां भी इसे लेकर पंजाब पुलिस को अलर्ट भेज चुकी हैं।