Pithoragarh: हिमालय में ॐ की आकृति जैसा पर्वत, दोपहर 12 से 2 बजे तक बर्फ से बनी छवि दिखाई देती है

उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले में एक अनोखा दृश्य सामने आया है, जहां हिमालय की ऊंची चोटियों में बर्फ से बनी ॐ की आकृति नजर आती है। यह अद्भुत दृश्य विशेष रूप से दोपहर 12 बजे से 2 बजे के बीच देखा जा सकता है, जब सूरज की रोशनी बर्फ पर पड़ती है और यह अद्वितीय रूप उत्पन्न करती है। इस दृश्य ने स्थानीय लोगों और पर्यटकों को मंत्रमुग्ध कर दिया है और इसे एक दिव्य आस्था का प्रतीक माना जा रहा है। पिथौरागढ़ जिले के विभिन्न गांवों से यह दृश्य देखा जा सकता है, जहां हिमालय की पर्वत श्रृंखला के बीच एक बर्फ से बनी आकृति उभरती है, जो ॐ के प्रतीक जैसा दिखाई देती है। यह दृश्य न केवल एक प्राकृतिक चमत्कार है, बल्कि धार्मिक दृष्टि से भी इसका बड़ा महत्व है, क्योंकि ॐ को हिंदू धर्म में अत्यधिक पवित्र और दिव्य माना जाता है। स्थानीय लोगों का मानना है कि यह आकृति हिमालय के शांति और पवित्रता का प्रतीक है। कुछ लोग इसे एक दिव्य संकेत मानते हैं, जो दर्शाता है कि हिमालय और उसका वातावरण कितना शक्तिशाली और शुभ है। यह दृश्य पर्यटकों को भी आकर्षित कर रहा है, जो इस अद्भुत घटना को अपनी आँखों से देखना चाहते हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि यह आकृति एक अद्वितीय प्राकृतिक घटना का परिणाम है, जब सूरज की रोशनी विशेष कोण पर बर्फ की सतह पर पड़ती है। हिमालय के उच्च इलाकों में बर्फ की परत और मौसम के विभिन्न पहलू इसे एक विशिष्ट रूप में उत्पन्न करते हैं, जिससे यह ॐ के आकार का दृश्य उभरता है। यह घटना लगभग दो घंटे तक देखी जा सकती है, जब सूरज की स्थिति और बर्फ की बनावट दोनों मेल खाती हैं। यह अद्भुत दृश्य स्थानीय पर्यटकों और धार्मिक श्रद्धालुओं के लिए एक आकर्षण का केंद्र बन गया है। कई लोग इसे शांति और आस्था का प्रतीक मानते हुए यहाँ आकर इस दृश्य का आनंद ले रहे हैं। इसके साथ ही, यह घटना पिथौरागढ़ के पर्यटन क्षेत्र को भी बढ़ावा दे रही है, जिससे यहाँ आने वाले पर्यटकों की संख्या में वृद्धि हो रही है। स्थानीय प्रशासन और पर्यटन विभाग इस दृश्य को और अधिक पर्यटकों तक पहुँचाने के लिए कदम उठा रहे हैं, ताकि अधिक लोग इस अनोखे दृश्य का अनुभव कर सकें। इस तरह के प्राकृतिक और धार्मिक चमत्कारों को देखना न केवल पर्यटकों के लिए एक अद्वितीय अनुभव है, बल्कि यह क्षेत्र की धार्मिक और सांस्कृतिक धरोहर को भी संरक्षित करने में मदद करेगा।

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