
चुनावी साल में लाई गई मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना को कैबिनेट ने मंजूरी दे दी। इस स्कीम में करीब एक करोड़ महिलाओं के खाते में हर महीने 1000 रुपए डाले जाएंगे। शुरुआत 10 जून 2023 से होगी। लेकिन वर्चुअल कैबिनेट को वित्त विभाग ने यह भी बता दिया है कि इस स्कीम के कारण वित्तीय वर्ष 2023-24 में विकास पर खर्च होने वाले 47 हजार 457 करोड़ रुपए के साथ अन्य योजनाओं में कटौती करनी पड़ेगी। लाड़ली बहना योजना के लिए हर साल करीब 12 हजार करोड़ जुटाने पड़ेंगे।
वित्त ने कैबिनेट को बताया कि विकास व अधोसंरचना पर खर्च के तहत राज्य को स्पेशल इंसेंटिव में केंद्र से 7850 करोड़ रुपए पैसा बिना ब्याज के मिल सकता है। लक्ष्य है कि 47 हजार 457 करोड़ रुपए विकास पर खर्च करने होंगे। लाड़ली बहना योजना पर हर साल भारी रकम खर्च होगी। पूर्व से ही केंद्र/राज्य के फंड से योजनाएं चल रही हैं, उनमें लाड़ली बहना के कारण कटौती होगी। लाड़ली बहना योजना के समान दूसरी सभी स्कीमें भी बंद की जा सकती हैं। कैबिनेट ने फिर भी योजना को मंजूरी दे दी।
15 मार्च से भरे जाएंगे फॉर्म, 10 जून को खाते में आएगा पैसा
इन्हें मिलेगा पैसा
- महिला मप्र की स्थानीय निवासी (विधवा, तलाकशुदा एवं परित्यक्ता महिला) हो।
- एक जनवरी 2023 की स्थिति में 23 वर्ष पूरे कर चुकी हो और 60 वर्ष की आयु से कम हो।
- महिला किसी भी वर्ग या जाति की हो।
- 60 साल से ऊपर की उम्र के लिए वृद्धावस्था पेंशन योजना लागू है। इसमें 600 रुपए मिलते हैं। उसमें 400 रुपए जोड़कर 1000 रुपए करेंगे।
इन्हें नहीं मिलेगा
- परिवार की वार्षिक आय 2.5 लाख हो
- इनकम टैक्स पेयर हो।
- केंद्र या राज्य में सरकारी, संविदा, निकाय, उपक्रम, स्थायी कर्मचारी हो।
- रिटायरमेंट के बाद पेंशन ले रहा हो।
- पंच-उपसरपंच को छोड़कर निर्वाचित जनप्रतिनिधि। परिवार की संयुक्त रूप से कृषि भूमि पांच एकड़ से अधिक न हो।
- चार पहिया वाहन न हो।