
शहर के निजी अस्पताल में इलाज के दौरान महिला की मौत हो जाने पर परिजनों ने जमकर हंगामा काटा। परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर लापरवाही और रुपये के बिना इलाज न करने का आरोप लगाया। सूचना पर पहुंची ने मामला शांत कराया। परिजन अस्पताल प्रबंधन के खिलाफ कार्रवाई की मांग को ले कर अड़े रहे लेकिन बाद में 80,000 रुपयों में समझौता हो गया।
मुखर्जीनगर जगतपुरा निवासी श्यामपद रंग की पत्नी लक्ष्मी रंग (50) के दिमाग में पिछले दिनों खून के थक्के जम गए थे। 22 जून को परिजनों ने उन्हें आवास विकास में मौजूद द न्यूरो अस्पताल में भर्ती कराया था, जहां उनका ऑपरेशन हुआ। रविवार सुबह उनकी मौत हो गई। इससे परिजन आक्रोशित हो गए और अस्पताल प्रबंधन पर लापरवाही का आरोप लगा कर हंगामा करने लगे।
श्याम पद रंग ने बताया कि पत्नी के इलाज के लिए वह अब तक तीन लाख रुपये अस्पताल को दे चुके हैं। रविवार को पत्नी की हालत नाजुक हुई तो वहां मौजूद डॉक्टर ने उन्हें वेंटिलेटर में भर्ती करने की बात की। आरोप लगाया कि डॉक्टर इसके लिए अधिक रुपये मांगने लगे। उन्होंने कुछ देर में रुपये जमा करने की बात कही लेकिन चिकित्सकों न उनकी एक नहीं सुनी। पत्नी साधारण वार्ड में भर्ती रही, जहां कुछ देर बाद उसकी मौत हो गई।