बिहार के दानापुर मंडल में आरा-बक्सर के बीच बुधवार की रात रघुनाथपुर स्टेशन के पास नार्थ ईस्ट एक्सप्रेस के दुर्घटनाग्रस्त होने के मामले में आरंभिक जांच में रेलवे के इंजीनियरिंग विभाग की लापरवाही सामने आई है। रेलवे की ओर से संयुक्त जांच में प्रथमदृष्ट्या रेलवे ट्रैक का नियमित रखरखाव ठीक ढंग से नहीं किया जाना पाया गया है।
इधर, रेल मंत्री ने घटना की उच्च्स्तरीय जांच के आदेश दे दिए हैं। वहीं, दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन-दानापुर रेलखंड पर 24 घंटे बाद भी यातायात पूरी तरह ठप है। रेलवे के अधिकारियों ने बताया कि उनकी प्राथमिकता पहले अपेक्षाकृत कम क्षतिग्रस्त मेन (अप) लाइन पर परिचालन शुरू करने की है। शुक्रवार को दोपहर बाद तक अप लाइन पर परिचालन बहाल हो सकता है। शनिवार या रविवार तक डाउन लाइन पर परिचालन शुरू होने की संभावना है।
रेलवे की ओर से इस दुर्घटना में मृत चार यात्रियों के आश्रितों को 10-10 लाख रुपये का मुआवजा दिया गया है, वहीं घायलों को 50-50 हजार का मुआवजा देने की घोषणा की गई है। बिहार सरकार ने भी मृतकों के आश्रितों को चार-चार लाख रुपये का अनुग्रह अनुदान दिया है। इस बीच रेलवे ने 95 ट्रेनों के रूट बदल दिए हैं तो 31 को रद कर दिया है। शुरुआती आकलन के अनुसार रेलवे को 52 करोड़ रुपये से अधिक का नुकसान हुआ है। इसमें ट्रेनों के मार्ग परिवर्तन और रद होने के कारण वाणिज्य विभाग को होने वाला नुकसान शामिल नहीं है।