
G20 समिट के दूसरे और आखिरी दिन इंडोनेशिया ने इसकी अध्यक्षता भारत को सौंपी। भारत 1 दिसंबर से नई दिल्ली में G-20 समूह के नेताओं के शिखर सम्मेलन की मेजबानी करेगा। दिसम्बर 2022 में इसका इनॉगरल सेशन उदयपुर में होगा। राजस्थान के तीन शहर इस बार मेजबानी करेंगे। उदयपुर और जोधपुर के साथ जयपुर में भी कॉन्फ्रेंस होंगी।
इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा- अगले एक साल में हमारा कोशिश होगी कि G20 एकजुट होकर काम करे और ग्लोबल प्राइम मूवर के तौर पर उभरे। दुनिया को G20 से उम्मीद है। इस वक्त दुनिया भारत की ओर देख रही है। भारत 1 दिसंबर से G20 की अध्यक्षता करेगा। 2024 में ब्राजील इसकी प्रेसिडेंसी संभालेगा।
समिट से इतर बुधवार को मोदी ने ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक से भी बातचीत की। इसके बाद ब्रिटेन ने 3 हजार वीजा जल्द जारी करने का भरोसा दिलाया। दोनों देश इस बारे में अलग से बयान जारी करेंगे।
डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन पर हुई चर्चा
डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन पर चर्चा के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने कहा- कई टेक इनोवेशन हमारे युग के बड़े ट्रांसफॉर्मेशन का हिस्सा बन गए हैं। गरीबी से लड़ने में टेक्नोलॉजी ने काफी मदद की है। डिजिटल सॉल्यूशन हमारे लिए क्लाइमेट चेंज जैसी चुनौतियों से निपटने में मददगार साबित हो सकते हैं।
फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों से मुलाकात
G20 समिट खत्म होने के पहले मोदी ने फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों से मुलाकात की। दोनों नेताओं के बीच फ्री ट्रेड एग्रीमेंट पर भी बातचीत भी हुई। अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग समिट खत्म होने के बाद अपने-अपने देश रवाना हो गए।
G20 लीडर्स ने मैंग्रोव फॉरेस्ट का दौरा किया
PM मोदी समेत G20 में शामिल सभी नेता बाली के मैंग्रोव फॉरेस्ट पहुंचे। इस दौरान G20 लीडर्स मैंग्रोव फॉरेस्ट में जलवायु परिवर्तन से लड़ने में मदद करने वाले पौधे लगाए। क्लाइमेट चेंज यानी जलवायु परिवर्तन हाल के समय में बहुत ही गंभीर मुद्दा बनकर उभरा है। 2022 में इंग्लैंड और पूरे यूरोप में लोग गर्मी से बेहाल रहे। पाकिस्तान में भारी बारिश से बाढ़ आ गई। भारत में पहले हीटवेव से फसलों को नुकसान हुआ। अमेरिका में भी भीषण गर्मी से जंगलों में आग लगी गई, दूसरी तरफ बारिश से बाढ़ आ गई। माना जा रहा है इस सबके पीछे जलवायु परिवर्तन ही है।
मंगलवार को प्रधानमंत्री मोदी ने इंडोनेशिया में रहने वाले भारतीय समुदाय के लोगों को संबोधित किया। यहां उन्होंने कहा- इंडोनेशिया और बाली आने के बाद हर हिंदुस्तानी को एक अलग अहसास होता है। मैं भी वही वाइब्रेशन्स फील कर रहा हूं। हमारा हजारों साल पुराना रिश्ता है। हम हजारों साल से इस परंपरा को निभा रहे हैं।
जिनपिंग से मिले मोदी
समिट के पहले दिन मंगलवार को इंडोनेशिया के प्रेसिडेंड जोको विडोडो ने सभी लीडर्स के लिए डिनर होस्ट किया। इस दौरान मोदी और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग आमने-सामने हुए। दोनों ने हाथ मिलाए और कुछ देर तक बातचीत की। इसके पहले उज्बेकिस्तान के समरकंद में सितंबर में आयोजित SCO मीटिंग के दौरान दोनों नेता एक ही मंच पर मौजूद थे, लेकिन तब दोनों की आंखें तक नहीं मिलीं थी।