Parliament : चीन सीमा विवाद को लेकर संसद में विपक्ष का विरोध दुर्भाग्यपूर्ण

केंद्र सरकार ने चीन के साथ सीमा विवाद के मुद्दे पर चर्चा कराने की मांग को लेकर संसद में व्यवधान उत्पन्न करने पर विपक्ष पर पलटवार किया। संसदीय कार्यमंत्री प्रह्लाद जोशी ने शुक्रवार को पत्रकारों से कहा कि विपक्ष का विरोध दुर्भाग्यपूर्ण है। जोशी ने कहा कि जुलाई 2013 में मुरली मनोहर जोशी और 10 अन्य सांसदों ने चीन के साथ सीमा विवाद पर चर्चा कराने का प्रस्ताव किया था। जनवरी 2014 में भी ध्यानाकर्षण प्रस्ताव के जरिए चीन से लगी सीमा पर अतिक्रमण को लेकर चर्चा कराने की मांग की थी, लेकिन तत्कालीन यूपीए सरकार ने कहा था कि यह संवेदनशील मसला है। अब रक्षा मंत्री और विदेश मंत्री भी सदन में विस्तृत बयान दे चुके हैं। सेना भी बयान दे चुकी है, उस पर तो विश्वास करना चाहिए।

अप्रैल-अक्तूबर में 46.56 लाख टन गेहूं का निर्यात
केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग राज्यमंत्री अनुप्रिया पटेल ने शुक्रवार को राज्यसभा में कहा कि भारत ने इस वित्तीय वर्ष में अप्रैल-अक्तूबर के दौरान 1.5 अरब अमेरिकी डॉलर का 46.56 लाख टन गेहूं का निर्यात किया। वहीं, बासमती चावल का निर्यात 2.54 अरब अमेरिकी डॉलर (24.10 लाख टन) रहा। हालांकि सरकार ने मई में गेहूं के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया था, लेकिन अनुरोध करने वाले देशों की जरूरतों को पूरा को कुछ शिपमेंट की अनुमति दी गई। 

लोकसभा में 62 घंटे 42 मिनट जबकि राज्यसभा 64 घंटे 50 मिनट कार्यवाही चली। 
दोनों सदनों में तवांग में भारत-चीन के सैनिकों के बीच हुई झड़प के मुद्दे पर जमकर हंगामा हुआ। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इस पर बयान भी दिया, लेकिन विपक्ष चर्चा के लिए अड़ा रहा। लोकसभा से पारित अहम बिल संविधान (अनुसूचित जनजाति) आदेश (संशोधन) विधेयक 2022 के पांच विधेयक( समुद्री जलदस्युता रोधी विधेयक 2022 राज्यसभा से पारित बिल वन्यजीव संरक्षण विधेयक 2022
ऊर्जा संरक्षण संशोधन बिल
नई दिल्ली अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थता केंद्र (संशोधन) विधेयक
समुद्री जलदस्युता रोधी विधेयक nसंविधान (अनुसूचित जनजाति) आदेश (संशोधन) विधेयक 2022 के तीन बिल।

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