
विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने भारतीय पत्रकारों के साथ प्रेस वार्ता के दौरान अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के प्रशासन के प्रति अपनी सकारात्मक प्रतिक्रिया व्यक्त की। उन्होंने कहा कि उन्होंने जो देखा, वह एक आत्मविश्वासी और उत्साही प्रशासन था, जो अपना काम पूरा करने के लिए दृढ़संकल्पित था। जयशंकर, जो 20 जनवरी को ट्रंप के शपथ ग्रहण समारोह में भारत सरकार के प्रतिनिधि के रूप में शामिल हुए थे, ने अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार माइक वाल्ट्ज और अन्य शीर्ष अधिकारियों के साथ महत्वपूर्ण द्विपक्षीय बैठकें कीं। इस दौरान उन्होंने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति और भारतीय प्रधानमंत्री के बीच बहुत अच्छे रिश्ते हैं और दोनों नेताओं के बीच हमेशा एक साझेदारी का इतिहास रहा है।
जयशंकर ने कहा कि ट्रंप प्रशासन बहुत सक्रिय है, और उन्होंने यह महसूस किया कि यह प्रशासन अपने कार्यभार संभालने से पहले भी बेहद सक्रिय था। उन्होंने यह भी बताया कि भारत हमेशा अवैध भारतीय नागरिकों की वैध वापसी के लिए तैयार है और इस दिशा में अमेरिका से तालमेल बनाए रखा जा रहा है। साथ ही, उन्होंने यह स्पष्ट किया कि भारत अवैध प्रवासन का विरोध करता है क्योंकि इससे अन्य अवैध गतिविधियाँ जुड़ सकती हैं, जो किसी भी देश के लिए अवांछनीय होती हैं।
जब पाकिस्तान के साथ व्यापार को फिर से शुरू करने के बारे में पूछा गया, तो जयशंकर ने कहा कि इस मुद्दे पर कोई बातचीत नहीं हुई है, क्योंकि पाकिस्तान ने 2019 में व्यापार रोकने का निर्णय लिया था। उन्होंने यह भी कहा कि भारत ने कभी पाकिस्तान के साथ व्यापार बंद नहीं किया, बल्कि यह निर्णय पाकिस्तान ने लिया। इसके अलावा, जयशंकर ने अमेरिकी अधिकारियों के साथ बांग्लादेश की स्थिति पर भी चर्चा की और सैन फ्रांसिस्को में भारत के वाणिज्य दूतावास पर हुए हमले को गंभीर मामला बताते हुए कहा कि दोषियों को जिम्मेदार ठहराने की आवश्यकता है।